ऑपरेशन अजय से नारी शक्ति वंदन अधिनियम तक… मोदी सरकार के रखे इन नामों में छिपी है भारतीय मिट्टी की खुशबू

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पायल मेहता/नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार युद्धग्रस्त देशों से भारतीयों को वापस लाने में हमेशा तत्पर रहती है. वहीं संकटग्रस्त देशों की मदद करने में भी भारत आगे रहता है. हाल ही में इजरायल और गाजा पट्टी क्षेत्रों में फंसे भारतीयों को सुरक्षित लाने के लिए मोदी सरकार द्वारा ऑपरेशन अजेय शुरू किया गया है. विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पिछले बुधवार को घोषणा की थी कि भारत सरकार युद्ध प्रभावित इजरायल में फंसे नागरिकों को वापस लाने के लिए एक बचाव अभियान – ऑपरेशन अजय – शुरू करेगी. तब से, कई उड़ानें संकटग्रस्त देश से भारतीयों को वापस ला चुकी हैं.

मोदी सरकार ने  क्यों रखा ऑपरेशन अजेय नाम?
इस ऑपरेशन से अवगत लोगों ने News18 को बताया कि प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने मिशन का नाम अजेय क्यों रखा, इसका एक विशेष कारण था. एक शीर्ष सूत्र ने न्यूज18 को बताया कि विदेशों में अपने नागरिकों की सुरक्षा और भलाई के लिए भारत सरकार पूरी तरह से प्रतिबद्ध नजर आती है. अजेय का अर्थ है अपराजेय. यह वास्तव में भारत की भावना को परिभाषित करता है. जैसे कि सभी संकटों से लड़ने के लिए तैयार और राष्ट्र और राष्ट्रीय हित को सबसे ऊपर रखना.

सूडान में फंसे भारतीयों को निकालने के लिए चलाया ऑपरेशन कावेरी
उन्होंने कहा कि परियोजनाओं के नामकरण से लेकर बचाव अभियान चलाने तक की प्रक्रिया पर वर्तमान प्रधानमंत्री के तहत बहुत विचार किया जाता है. अप्रैल में भारत सरकार ने सूडान से भारतीयों को वापस लाने के लिए एक मिशन शुरू किया था. इसे ऑपरेशन कावेरी कहा गया. सरकार के एक वरिष्ठ मंत्री ने न्यूज18 को बताया, ‘सूडान में फंसे कई भारतीय नागरिक दक्षिणी राज्यों, खासकर कर्नाटक से थे. कावेरी दक्षिणी राज्यों कर्नाटक और तमिलनाडु से होकर बहने वाली प्रमुख भारतीय नदियों में से एक है. यह नदी क्षेत्र के लोगों के लिए पवित्र है और इसे देवी कावेरीम्मा (मां कावेरी) के रूप में पूजा जाता है. अपनी सभी बाधाओं के बावजूद, नदी अपने गंतव्य तक पहुंचती है और सभी की भलाई सुनिश्चित करती है. इसलिए इस ऑपरेशन का नाम कावेरी रखा गया.’

यूक्रेन में फंसे भारतीयों को निकालने के लिए चलाा ऑपरेशन गंगा
पिछले साल की शुरुआत में, जब भारत सरकार ने युद्ध प्रभावित यूक्रेन से अपने 20,000 से अधिक नागरिकों को बचाया था, तो इस मिशन को ‘ऑपरेशन गंगा’ कहा गया था. भारत में गंगा को मां की तरह पूजा जाता है. वह अपने बच्चों को खतरे से बचाने के लिए हमेशा मौजूद रहती हैं. “पीएम मोदी देवी दुर्गा – शक्ति की देवी – के भक्त हैं, जो बुराई पर अच्छाई की जीत को दर्शाने में महत्वपूर्ण हैं, यही कारण है कि जब अफगानिस्तान पर तालिबान का हमला हुआ था, तब भारत द्वारा किए गए बचाव अभियान को ऑपरेशन देवी शक्ति कहा गया था.

सरकार द्वारा तय किए गए नामों में छिपा होता है बड़ा संदेश
एक वरिष्ठ नौकरशाह ने न्यूज18 को बताया, “सरकार द्वारा शुरू की गई किसी भी परियोजना के मामले में, मंशा स्पष्ट है. यह लोगों के हित के लिए है. इस तरह के किसी भी परियोजना का नामकरण बहुत महत्व और प्रयास होता है कि मिट्टी की खुशबू आनी चाहिए, इस तरह किसी भी परियोजना का नामकरण बहुत महत्व और प्रयास का होता है, खासकर प्रधान मंत्री द्वारा.’ हाल ही में, भारत सरकार ने देश के सबसे बड़े सम्मेलन केंद्रों में से एक, भारत मंडपम को समर्पित किया, जिसने जी20 शिखर सम्मेलन की मेजबानी की थी. यह नाम दर्शाता है कि भारत अनेक आस्थाओं, विश्वासों और विविधताओं का देश है.

ऑपरेशन अजय से नारी शक्ति वंदन अधिनियम तक... मोदी सरकार के रखे इन नामों में छिपी है भारतीय मिट्टी की खुशबू

सरकार द्वारा एक और लॉन्च, यशोभूमि नामक एक कन्वेंशन सेंटर का नाम भी इसी तर्ज पर रखा गया था. सबसे ताज़ा उदाहरण संसद के दोनों सदनों द्वारा पारित महिला आरक्षण विधेयक था. इसका उद्देश्य देश भर की महिलाओं से जुड़ना है और इसलिए पीएम मोदी ने इसका नाम नारी शक्ति वंदन अधिनियम रखने का फैसला किया. देश की जनता में आज्ञाकारी होने का भरोसा जताते हुए पीएम मोदी इस कानून को जन विश्वास विधेयक का नाम देते हुए लेकर आए.

Tags: Modi government, Narendra modi

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