हाइलाइट्स
ठंड में ड्राई फ्रूट्स या नट्स नहीं बल्कि तिल और गुड़ शरीर का तापमान मेनटेन करते हैं.
तिल में इतने गुण होते हैं कि यह कैंसर जैसी गंभीर बीमारी से भी बचाव करता है.
Til-Gud for Winter: औरों की तरह अगर आपको भी लगता है कि सर्दी के मौसम में काजू-बादाम खाना सबसे बेस्ट हैं और ये ही दो चीजें हैं जो आपके शरीर को ठंड से बचाने का काम सबसे बेहतर तरीके से करते हैं तो आप गलत हो सकते हैं. आयुर्वेद के चिकित्सकों की मानें तो काजू और बादाम नहीं बल्कि बाजार में बेहद सस्ते दामों में मिलने वाला गुड़ और तिल दो ऐसी चीजें हैं जो विंटर में ड्राई फ्रूट्स की तरह आपके शरीर में हीट पैदा नहीं करते बल्कि शरीर के तापमान को गर्म रखते हैं और लंबे समय तक उसे मेनटेन करते हैं.
ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ आयुर्वेद नई दिल्ली में द्रव्यगुण विभाग की असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. शिवानी घिल्डियाल कहती हैं कि आयुर्वेद में तिल को बहुत अच्छा माना जाता है. यहां तक कि देसी गाय के घी के बाद तिल के तेल को सर्वोत्तम माना जाता है और खाने की सलाह दी जाती है. सर्दी में तिल को गुड़ के साथ मिलाकर खाया जाता है तो यह तापमान के लिए रेगुलेटर का काम करता है और शरीर में गर्मी को बनाए रखता है.
ये भी पढ़ें-क्रिकेट खेलने के दौरान युवाओं की हो रही मौत! 15 दिन में आए 6 केस, AIIMS के डॉ. नायक ने बताई वजह
इसके अलावा सर्दी के मौसम में वायरस और बैक्टीरिया तेजी से पकड़ते हैं, लेकिन गुड़ के साथ मिलाकर खाने से सर्दी, खांसी और फ्लू जैसे खतरे भी कम होते हैं. ऐसे में रोजाना तिल और गुड़ का एक सामान्य लड्डू या 20-25 ग्राम तक तिल कुट आप खा सकते हैं.
तिल में होता है ये खास गुण..
तिल में जो गुण होता है वह काजू-बादाम (Cashew-Almond) में भी नहीं होता. इसमें प्रोटीन (Protein), कैल्शियम, फाइबर, फास्फोरस, आयरन, मैग्नीशियम, विटामिन-बी1, कॉपर व जिंक आदि तो पाए ही जाते हैं, इसके साथ ही सबसे जरूरी सेसमीन और सेसमोलिन नाम के दो जरूरी कंपाउंड भी इसमें होते हैं जो कैंसर (Cancer) की कोशिकाओं को बढ़ने से रोक सकते हैं. इसके अलावा यह हार्ट डिजीज को भी रोकने में कारगर है क्योंकि इसमें फाइटोस्टेरॉल, पॉलीअनसेचुरेटेड फैटी एसिड होता है जो शरीर में बेड कोलेस्ट्रोल को कम करता है.
डायबिटीज और बीपी के रोगी खाएं या नहीं
दिल्ली के राम मनोहर लोहिया अस्पताल की डायटीशियन मनीषा वर्मा कहती हैं कि तिल और गुड़ खाना सेहत के लिए अच्छा है. इन दोनों को मिलाकर खाना सर्दी में काफी फायदेमंद है लेकिन डायबिटीज के मरीजों को बिल्कुल भी गुड़ नहीं खाना चाहिए. गुड़ का ग्लाइसेमिक इंडेक्स काफी ज्यादा होता है, इसलिए जिनका शुगर बढ़ा हुआ है, वे गुड़ न खाएं.
वहीं अगर तिल की बात है तो इसमें कुछ सेचुरेटेड फैटी एसिड भी होते हैं जो कॉलेस्ट्रोल बढ़ा सकते हैं, तिल भूनकर और इन्हें घी और अन्य मेवाओं के साथ मिलाकर तो बिल्कुल भी न खाएं. जो लोग पिन्नी या घी में भूनकर मेवाओं की पंजीरी बना के खाते हैं, उसकी ज्यादा मात्रा भी नुकसान पहुंचा सकती है. इसलिए हाई बीपी के मरीज अगर तिल खाना चाहते हैं तो 5 ग्राम रोजाना से ज्यादा न खाएं.
.
Tags: Health News, Lifestyle, Trending news
FIRST PUBLISHED : January 11, 2024, 08:05 IST